बलिया से फर्जी जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र रैकेट का पर्दाफाश, चॉइस सेंटर संचालक गिरफ्तार

बलिया से फर्जी जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र रैकेट का पर्दाफाश, चॉइस सेंटर संचालक गिरफ्तार

अम्बिकापुर। शहर में सरगुजा पुलिस ने फर्जी जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने और वितरित करने वाले अंतरराज्यीय रैकेट का खुलासा हुआ है। मणिपुर थाना पुलिस ने बलिया, उत्तर प्रदेश से चॉइस सेंटर संचालक अक्षय कुमार यादव को गिरफ्तार किया है। आरोपी ने 250 रुपये प्रति प्रमाण पत्र के हिसाब से 150-200 लोगों के लिए कूटरचित दस्तावेज तैयार किए, जिनमें जिला चिकित्सालय अम्बिकापुर के रजिस्ट्रार के फर्जी हस्ताक्षर और सील का दुरुपयोग किया गया। पुलिस ने आरोपी के कब्जे से एक फर्जी प्रमाण पत्र और घटना में प्रयुक्त मोबाइल जब्त किया है।कुलमिलाकर यह कार्रवाई सरगुजा पुलिस की सतर्कता और अपराध के खिलाफ सख्त रवैये का परिणाम है। बहरहाल मामले पर प्राप्त जानकारी अनुसार मामले की शुरुआत तब हुई, जब राजमाता देवेंद्र कुमारी मेडिकल कॉलेज के सहायक जिला अस्पताल अधीक्षक डॉ. संटू बाघ ने 20 मार्च 2024 को मणिपुर थाने में शिकायत दर्ज की। उन्होंने बताया कि विभिन्न चॉइस सेंटरों के माध्यम से 2006, 1970, 1984 और 2011 के जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र फर्जी तरीके से बनाए जा रहे हैं। ये प्रमाण पत्र जिला चिकित्सालय अम्बिकापुर के रजिस्ट्रार के नाम और हस्ताक्षर का दुरुपयोग कर डिजिटल रूप में तैयार किए गए, जबकि 2013 से पहले अस्पताल द्वारा ऐसे कोई प्रमाण पत्र जारी नहीं किए गए थे। शिकायत के साथ छह फर्जी प्रमाण पत्र भी पेश किए गए।पुलिस ने इस आधार पर अपराध क्रमांक 97/25, धारा 318(4) बी.एन.एस. के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू की। तकनीकी साक्ष्यों और सतत प्रयासों के बाद पुलिस को आरोपी अक्षय कुमार यादव उम्र करीब 26 वर्ष, निवासी कोडहरा, थाना दोकटी, बलिया, उत्तर प्रदेश की जानकारी मिली। मणिपुर थाना पुलिस की एक विशेष टीम बलिया पहुंची और आरोपी को हिरासत में लेकर पूछताछ की। अक्षय ने अपराध स्वीकार करते हुए बताया कि उसने 250 रुपये प्रति प्रमाण पत्र के हिसाब से सैकड़ों फर्जी दस्तावेज बनाए।

जप्त सामग्री और कानूनी कार्रवाई  

पुलिस ने आरोपी के पास से एक फर्जी जन्म-मृत्यु प्रमाण पत्र और घटना में प्रयुक्त मोबाइल जब्त किया। पर्याप्त सबूतों के आधार पर अक्षय को गिरफ्तार कर माननीय न्यायालय में पेश किया गया। इस कार्रवाई में थाना प्रभारी मणिपुर उप निरीक्षक अखिलेश सिंह, सहायक उप निरीक्षक बबलू कुजूर, धीरज गुप्ता, महिला प्रधान आरक्षक मालती तिवारी, आरक्षक सत्येंद्र दुबे, अतुल शर्मा और निर्मल साय की अहम भूमिका रही।